शहीदों के आश्रितों को योगी सरकार बिसराई, सपाइयों ने ली सुधि

गाजीपुर। जहां योगी सरकार गाजीपुर के दो शहीद सैनिकों के आश्रितों को वादा करने के बाद भी भुला दी। वहीं न सिर्फ सपाइयों ने उनकी सुधि ली बल्कि पार्टी के पूर्व सांसद राधेमोहन सिंह ने उन्हें अपनी ओर से बतौर मदद एक-एक लाख रुपये दिए। साथ ही आश्वस्त किए कि प्रदेश में पार्टी की सरकार बनने के बाद उन्हें अन्य मदद भी दी जाएगी। उन्होंने यह भी वादा किया कि शहीदों के संतानों की पढ़ाई और खेल की सुविधा भी वह अपनी ओर से मुहैया कराएंगे।
शुक्रवार को दोनों शहीदों के घर उनके आश्रितों का हाल जानने के लिए सपा के प्रतिनिधिमंडल संग पूर्व सांसद राधेमोहन सिंह भी पहुंचे थे। प्रतिनिधिमंडल में शामिल विधायक डॉ.वीरेंद्र यादव, पार्टी के प्रदेश सचिव राजेश कुशवाहा ने भी शहीदों के आश्रितों को कुछ मदद राशि दी।
पार्टी के प्रदेश प्रमुख महासचिव राजनारायन बिंद की अगुवाई में यह प्रतिनिधिमंडल सबसे पहले ओमप्रकाश बिंद के घर शादियाबाद क्षेत्र स्थित खुटहन पहुंचा था। जहां पूर्व सांसद ने शहीद की पत्नी सुमन दवी को मदद राशि दी। ओमप्रकाश बिंद की तैनाती लेह लद्दाख सीमा पर थी। पिछले माह के पहले सप्ताह में ड्यूटी के दौरान पहाड़ी चढ़कर अपनी पोस्ट पर पहुंचे ही थे कि उन्हें सांस लेने में दिक्कत महसूस हुई। फौरन उन्हें चिकित्सकीय सुविधा मुहैया कराई गई लेकिन चिकित्सकों के लाख प्रयास के बाद भी उन्हें बचाया नहीं जा सका था। पार्थिव शरीर पैतृक गांव लाया गया। पुष्पांजलि अर्पित करने हुजूम पहुंचा। उनमें प्रदेश सरकार की सहकारिता राज्य मंत्री डॉ.संगीता बलवंत और जिलाध्यक्ष भानुप्रताप सिंह सहित कई भाजपा नेता भी शामिल थे। तब डॉ. बलवंत शहीद ओमप्रकाश बिंद के आश्रितों को अपनी सरकार की ओर से हर आर्थिक मदद दिलाने का भरोसा दी थीं लेकिन कुछ नहीं हुआ।
खुटहन के बाद सपा का प्रतिनिधिमंडल जखनियां क्षेत्र के घटारो गांव पहुंचा और वहां भी पूर्व सांसद राधेमोहन सिंह शहीद धीरेंद्र यादव के आश्रितों को मदद के रूप में उनके भाई कृष्णा यादव को एक लाख रुपये दिए। धीरेंद्र यादव कश्मीर के कुपवाड़ा में तैनात थे। बीते 29 अक्टूबर को ऑक्सीजन लेवल कम होने से उनकी जान चली गई थी। उनका भी पार्थिव शरीर घटारो लाया गया था। उनके आश्रितों को भी सरकारी आर्थिक मदद दिलाने का भरोसा दिया गया था इस मौके पर पूर्व सांसद राधेमोहन सिंह का कहना था कि अब वक्त आ गया है कि सरकार शहादत की परिभाषा बदले। यह जरूरी नहीं कि दुश्मन के हमले में प्राण गंवाने वाले को ही शहीद की श्रेणी में रखा जाए। गाजीपुर के जांबाज जवान ओमप्रकाश बिंद तथा धीरेंद्र यादव ने अपनी जान देश की सरहद की हिफाजत में ही गंवाई है।
प्रतिनिधिमंडल में पार्टी के जिलाध्यक्ष रामधारी यादव, जिला महामंत्री अशोक कुमार बिंद, परशुराम बिंद तथा सूरज राम बागी भी शामिल थे। प्रतिनिधिमंडल संग पार्टी के जै किशन साहू, अरुण कुमार श्रीवास्तव, बृजदेव खरवार, तहसीन अहमद, कन्हैयालाल विश्वकर्मा, रामवचन यादव, रामाधार यादव,विमल सोनकर, भानु यादव, कैलाश यादव, दिनेश यादव, प्रभुनाथ राम, रविशेखर विश्वकर्मा, राहुल सिंह, गुलाम गौस, सुशील जायसवाल, तहसीलदार यादव,राममूरत बनवासी, अनिल यादव, जयमूरत विश्वकर्मा, अवथेश यादव, नितेश खरवार आदि भी थे।