आईजी की सख्ती से गाजीपुर में तस्करी सबसे कम, चंदौली में सबसे ज्यादा मुकदमे

वाराणसी : गोवंश तस्करी के खिलाफ चलाए जा रहे विशेष अभियान में आईजी वाराणसी रेंज मोहित गुप्ता की सख्ती का असर साफ दिखने लगा है। बीते 90 दिनों में चार जिलों से कुल 366 गोवंश बरामद किए गए, जबकि तस्करों के खिलाफ कार्रवाई तेज कर दी गई है।
इस दौरान गाजीपुर में सबसे कम तस्करी के मामले सामने आए, वहीं चंदौली में सबसे ज्यादा मुकदमे दर्ज किए गए, जिससे यह स्पष्ट होता है कि तस्करों की गतिविधि अब चंदौली में अधिक सक्रिय है।
चार जिलों का आंकड़ा – गाजीपुर सबसे शांत, चंदौली सबसे संवेदनशील
गाजीपुर में केवल 4 मुकदमे और 31 गोवंश की बरामदगी हुई, जो दर्शाता है कि पुलिस की मुस्तैदी और सतर्कता के चलते तस्करों की घुसपैठ यहां कमजोर पड़ी है। वहीं चंदौली में 26 मुकदमे दर्ज कर 366 गोवंश बरामद किए गए, जो क्षेत्र में तस्करी के मजबूत नेटवर्क की ओर इशारा करता है।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, गाजीपुर और वाराणसी में पुलिस की बढ़ती दबिश के बाद तस्करों ने चंदौली को नया रूट बना लिया है। यहां से तस्करी की गाड़ियाँ सीधे झारखंड, बिहार और छत्तीसगढ़ की ओर भेजी जाती हैं।
आईजी मोहित गुप्ता की रणनीति – गोपनीय सेल और निगरानी तंत्र
तस्करी रोकने के लिए आईजी मोहित गुप्ता ने सभी जिलों को निर्देश दिए हैं कि गोपनीय सेल सक्रिय की जाए और रूट की पहचान कर लगातार निगरानी की जाए। इसके साथ ही संदिग्ध वाहनों और गिरोहों की सूची बनाकर कार्रवाई करने को कहा गया है।
गाजीपुर में तस्करी पर नियंत्रण पुलिस की सक्रियता का परिणाम है। चंदौली में मामले ज्यादा हैं, इसलिए वहां पुलिस बल को और मजबूत किया गया है। हम तस्करों के नेटवर्क को पूरी तरह खत्म करने के लिए लगातार काम कर रहे हैं।